Punjab Vigilance inquiry

Punjab: अब विजिलेंस के निशाने पर पंजाब के पूर्व मंत्री, जानें अब कौन आया घेरे में 

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Punjab Vigilance inquiry- आय से अधिक संपति रखने के मामले में पंजाब के पूर्व राजस्व मंत्री एवं भाजपा नेता गुरप्रीत सिंह कांगड़ की भी मुश्किलें बढ़ गईं हैं। विजिलेंस ने उनके खिलाफ जांच शुरू की है। मामले को लेकर विजिलेंस की टीमें अब उनकी संपत्ति का सत्यापन कर रही हैं। विजिलेंस को कुछ इनपुट मिले थे कि उन्होंने आय से अधिक संपत्ति बनाई हुई है। विजिलेंस के एक सीनियर अधिकारी ने बताया कि सत्यापन की प्रक्रिया अभी तक प्रारंभिक चरण पर है। जरूरत पड़ी तो पूर्व मंत्री को समन भेजा जाएगा। 

विजिलेंस की टीमें पंजाब व अन्य राज्यों में उनकी संपत्ति के बारे में पड़ताल कर रही है। इसके अलावा विधानसभा चुनाव में सौंपे गए उनके हलफनामे का आकलन किया जा रहा है। विजिलेंस पता लगाने में जुटी है कि आखिर उन्होंने मंत्री रहते कितनी संपत्ति बनाई है। विजिलेंस हर बिंदु पर गंभीरता से काम कर रही है। 

2017 में जब कैप्टन अमरिंदर सिंह की अगुवाई में राज्य में कांग्रेस की सरकार बनी थी तो उस समय कांगड़ को राजस्व मंत्री बनाया गया था। हालांकि जब कैप्टन को हटाकर चरणजीत सिंह चन्नी को मुख्यमंत्री बनाया गया तो कांगड़ की मंत्रिमंडल से छुट्टी कर दी गई थी। हालांकि विधानसभा चुनाव के बाद उन्होंने भाजपा का दामन थाम लिया था। अगर विजिलेंस भविष्य में उन पर कार्रवाई करती है तो जांच के दायरे में आने वाले वह भाजपा के दूसरे नेता होंगे। इससे पहले भाजपा नेता सुंदर शाम अरोड़ा पर ब्यूरो की कार्रवाई जारी है। 

वहीं विजिलेंस ब्यूरो कांग्रेस के पूर्व मंत्री साधु सिंह धर्मसोत, भारत भूषण आशु, संगत सिंह गिलजियां समेत कई नेताओं पर केस दर्ज कर चुका है। सिंचाई घोटाले की जांच अलग ही चल रही है। इसमें दो पूर्व अकाली मंत्रियों शरणजीत सिंह ढिल्लों और जनमेजा सिंह सेखों व तीन पूर्व आईएएस अधिकारियों काहन सिंह पन्नू, केबीएस सिद्धू और सर्वेश कौशल से पूछताछ हो चुकी है।

 

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